हकमारी: आजसू जिलाध्यक्ष सचिन ने कहा—- निजी क्षेत्र में स्थानीय के लिए है 75 फीसदी आरक्षण नियमावली लागू, फिर भी मारा जा रहा है हक, सरकार की विफलता है दर्शाता
झारखंड के निजी क्षेत्रों में स्थानीय के लिए 75 प्रतिशत आरक्षण का प्रावधान 29 जुलाई से लागू है। श्रम नियोजन एवं प्रशिक्षण विभाग झारखंड राज्य द्वारा नियमावली की अधिसूचना जारी कर दी गई है। परन्तु बोकारो जिले के नियोक्ताओं ने अभी तक इसे लागू करने में कोई रूचि नही दिखाई है। जो सरकार की विफलता को दर्शाता है। उक्त बाते जिलाध्यक्ष सचिन महतो ने उपायुक्त कार्यालय के समक्ष एक दिवसीय धरना कार्यक्रम को संबोधित करते हुए शुक्रवार को कही। उन्होंने कहा कि अधिनियम की अधिसूचना के अनुसार, 40 हजार या इससे अधिक के मासिक वेतन पर होनेवाली नियुक्ति में 75 प्रतिशत स्थानीय उम्मीदवारों को नियोजन का प्रावधान है। लेकिन जिले के किसी भी निजी क्षेत्र में इसका अनुपालन नही के बराबर किया गया है। इससे सरकार की मंशा साफ जाहिर होती है कि स्थानीय के प्रति सरकार कितनी गंभीर है। हमने उपायुक्त एवं श्रमाधीक्षक को ज्ञापन सौंपा था। पर हमारी मांगो पर विचार नहीं हुआ तब हम आंदोलन के लिए बाध्य हुए। संचालन प्रधान सचिव तपन सिंह चौधरी ने किया।
ये थे धरना में शामिल :
मौके पर केन्द्रीय सचिव अश्विनी महतो, नवीन महतो, अशोक महतो, प्रकाश शर्मा, बुच्चू सिंह, अरविंद पाण्डेय, उमेश जयसवाल, राजेश भगत, बाटुल राय, निरंजन बाउरी, परशुराम महतो, मिथिलेश महतो, भरत महतो, संटु सिंह, सुरेश महतो, राम टहल नायक, अनिल झा, सुबोध गोस्वामी, महेन्द्र चौधरी, मंटु गोप, बंकुबिहारी सिंह, अमरदीप महाराज, लखन ख्वास, इन्द्रनाथ महतो, मोहन महतो, अरूण महतो, अमर महतो, अजय गोस्वामी, मुन्ना ओझा, सुशेन रजवार, विकास सिंह, कुलदीप प्रजापति, राजीव रंजन झा, तापेश मेहता, शिबू महतो आदि उपस्थित थे।