Bokaro: अशोक चौधरी ने कहा–बिहार में जातिगत गणना सार्वजनिक कर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने देश में पेश किया एक नजीर

Bokaro: कार्यकर्ता सम्मलेन में जदयू के वरीय नेता सह पूर्व बियाडा चेयरमैन अशोक चौधरी ने कहा कि बिहार में जाति आधारित गणना सार्वजनिक कर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने देश में एक नजीर पेश किया है। केंद्र सरकार से देशभर में जातिगत गणना कराने की मांग।

न्यूज इंप्रेशन, संवाददाता

Bokaro:  जदयू के वरीय नेता सह पूर्व बियाडा चेयरमैन अशोक चौधरी ने कहा कि बिहार में जाति आधारित गणना सार्वजनिक कर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने देश में एक नजीर पेश किया है। यह समाज के वंचित तबके के लिए उठाया गया एक साहसिक व ऐतिहासिक कदम है। श्री चौधरी रविवार यानि 8 अक्टूबर को कुर्मीडीह स्थित हनुमान मंदिर प्रांगण में जदयू बालीडीह शाखा की ओर से आयोजित कार्यकर्ता सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने केंद्र सरकार से राष्ट्रीय स्तर पर जाति आधारित गणना करवाने की मांग की। जातिगत गणना में हर परिवार की सामाजिक आर्थिक स्थिति का भी जायजा लिया गया है। इस पहल से विकास से वंचित लोगों को मजबूत करने का काम करने में सरकार को सहूलियत होगी। इससे समता मूलक समाज के निर्माण में तीव्रता आएगी।
जाति आधारित गणना बन गई है देश की मांग
चौधरी ने कहा कि जाति आधारित गणना अब देश की मांग बन चुकी है ताकि देश के सामने सभी नागरिक का सही आंकड़ा सामने आ सके। उन्होंने कहा कि धर्म व पाखंड की राजनीति करने वाले लोग इसका विरोध कर रहे हैं। झारखंड सरकार के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने भी राज्य में जाति आधारित गणना के लिए आश्वस्त किया है। पिछड़े व दलित विरोधी मानसिकता वाले लोग आज भी विभिन्न तरीकों से इसे रोकने की साजिश कर रहे हैं। आज भी इस देश में लाखों बंधुआ मजदूर शत प्रतिशत दलित, पिछड़ा व आदिवासी के घर से आते हैं।

बच्चों के उज्जवल भविष्य के लिए लड़ना होगा
श्री चौधरी ने कहा कि यह महासंग्राम है। यदि अपने बच्चों का भविष्य उज्जवल चाहते हैं तो इस लड़ाई को लड़ना होगा। बोकारो का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि अब ठहरा हुआ शहर सा लग रहा है। कभी रोजगार देने वाला शहर के नाम से प्रसिद्ध था बोकारो, आज लोग यहां से पलायन करने लगे हैं। युवाओं की संख्या तीव्र गति से घट रही है। बालीडीह इंडस्ट्रीयल एरिया में आज हजारों की संख्या में मजदूर कारखानों में काम कर अपना व परिवार का जीवन यापन कर रहे है। लेकिन उनके रहने के लिए सरकार द्वारा कोई भी जगह चिन्हित नहीं किया गया।

सम्मेलन में ये थे मौजूद
सम्मेलन की अध्यक्षता जनार्दन चौधरी ने की। संचालन तारकेश्वर प्रसाद ने किया। इस मौके पर डॉ के कुमार, महेंद्र प्रसाद, बाल्मिकी सिंह, जितेंद्र यादव, कन्हैया यादव, गंगाधर यादव, बी बी सिंह, लड्डू प्रसाद, राजनारायण पटेल,मनोज रजवार, संदीप कुमार, धर्मेंद्र कुमार, चंद्रकांत कुशवाहा, रत्न चौधरी, तारकेश्वर प्रसाद, मुकेश कुमार, गुड्डू कुमार, बीरेंद्र मुखिया, बनवारी सिंह, ज्वाला यादव, चंद्रदीप शर्मा, नूर आलम, अशोक राय, महेंद्र गोप, मिथिलेश प्रसाद, योगेंद्र केवट, चंद्रबली सिंह, कृष्ण ठाकुर, बच्चू शर्मा, श्रीनिवास सिंह, धनुलाल महतो, दूधनाथ चौधरी, बिजेंद्र साव, दीनानाथ यादव, हीरा यादव, लक्ष्मण केवट, अंकुश कुमार, सुरेश सिंह, मनोज कुमार सहित भारी संख्या में लोग उपस्थित थे।

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