पलट वार : पूर्व विधायक योगेंद्र बोले—सत्ता से दूर होने पर हो गयी है बौखलाहट, कौन से कॉलेज से लिए हैं डिग्री, सरकारी सेवक के रूप अर्जित किए है अकूत संपत्ति, प्रतिमाह कितना था सरकारी वेतन 

Petrvar: इन दिनों दो विधायकों का एक दूसरे पर पलटवार, राजनीतिक गलियारों में चर्चा का विषय बना हुआ है, एक आजसू के वर्तमान विधायक डॉ लंबोदर महतो और दूसरे जेएमएम के पूर्व विधायक योगेंद्र महतो हैं। बीते 20 अक्टूबर को विधायक डॉक्टर लंबोदर महतो ने योगेंद्र महतो पर कई आरोप लगाएं। वहीं, शनिवार यानी 22 अक्टूबर को गोमिया के पूर्व विधायक ने पलटवार करते हुए कहा कि गोमिया के विधायक लंबोदर महतो और उनके आका गिरिडीह सांसद चंद्रप्रकाश चौधरी एक लंबे समय से सत्ता का मलाई खा-खाकर घमंड़ में भर गये थे। आज जब सत्ता से दूर हो गये तो बौखलाहट में अनाप-शनाप बयानबाजी करते फिर रहे हैं। जब 15 वर्षों तक झारखंड की सत्ता में बने रहे तो तब जनता की समस्याओं और विकास कार्यों पर उनका ध्यान नहीं गया। सत्ता से हटते ही जनता की याद आने लगी। विधायक जो लंबे समय तक तत्कालीन मंत्री चंद्रप्रकाश चौधरी के आप्त सचिव रहें, राजधानी रांची में सरकारी कार्यालय में कार्यों को छोड़कर कसमार, पेटरवार, गोमिया आकर नचनी नाच, आर्केस्ट्रा और शादी विवाह में समय बर्बाद कर दिएं। अब उन्हें समस्या दिख रही है। कहा कि पढ़ा लिखा कहलाने वाले, कौन से कॉलेज में कौन से विषय में डिग्री लिये, वे सरकार व जनता को नहीं बतायेंगे और ना ही चुनाव आयोग को, सिर्फ लैटर पैड में डाक्टर लिखेंगे।

विधायक पद को कर रहें हैं कमजोर:

वर्तमान विधायक को धरनाधारी विधायक की संज्ञा देते हुए कहा कि वे रोते फिरते है कि मेरा ये नहीं सुनता वो नहीं सुनता? अरे भाई ! जब आपकी बात एक सरकारी कर्मी तक नहीं सुनता है तो क्या आप में विधायकी की ताकत नहीं है, आज आप विधायक जैसे पद को भी कमजोर और महत्वहीन कर दिये। आप हमें कहते हो कि अपने क्षेत्र रामगढ़ से चुनाव क्यों नहीं लडते? जरा यही बात अपने आका गिरिडीह सांसद से पूछे कि आप हजारीबाग से सांसद का चुनाव क्यों नहीं लडते हैं? अपनी पार्टी सुप्रीमो सुदेश महतो को जाकर पूछे कि वे अपने ससुर को रांची, खूंटी और गिरिडीह लोकसभा से चुनाव क्यों लड़ाये थें। विधायक जी हम पर कोयला कारोबारी का आरोप लगाते हैं। जरा आप जनता को बतायेंगे कि आपकी सरकारी सेवक के रूप में प्रतिमाह वेतन कितनी थी और उसके अनुसार आपके पास वर्तमान में कुल कितनी संपत्ति होनी चाहिए। जरा आप बताएं रांची में दो-दो जगहों पर आलिशान महल, पेटरवार, गोमिया, चतरोचट्टी, कसमार के खैराचातर और बगदा में कई एकड़ भूमि कौन सी मेहनत की कमाई से खरीदी है। आप संघर्षशील जूझारू और चार-चार बार के विधायक रहे मंत्री जगरनाथ महतो को चुनौती नहीं दे सकतें। ये भी मत भूलिए कि आप भी गोमिया से चुनाव हार चुके हैं। जहां तक ईडी की बात है तो जरा अपने फूफा ईडी से यह पूछे कि अपने आका के पूर्व पीए मनोज सिंह जो हजारों करोड़ की अकूत संपत्ति अर्जित कर किधर छूपाएं हैं, इसलिए गोमिया की जनता ने आपकी काबिलियत, ताकत व औकात को भांप चुकी है। आपसे कुछ होने जाने वाला नहीं है। बड़ी बड़ी बातें और सपने दिखाकर धोखा देने का काम कर रहे हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *